मैंने अपने बच्चे की एक किताब में एक शब्द देखा- जेंटलमैन। शायद केजी या नर्सरी की किताब रही होगी। कई साल पहले। जेंटलमैन शब्द के ऊपर एक तस्वीर बनाई गई थी जिसमें एक सूटेड-बूटेड आदमी, टाई लगाए, बैग लिए खड़ा था। जेंटलमैन शब्द सिखाने के लिए हमने ये पिक्चर बनाई। हमें बच्चे को पिक्टोरियल ट्यूशन देना था। हमने बच्चे को जेंटलमैन की स्पेलिंग सिखा दी लेकिन साथ ही एक बड़ा अपराध भी कर दिया। उसके दिमाग में हमने एक तस्वीर बिठा दी कि जेंटलमैन का मतलब सूटेड-बूटेड, बैग लिये हुए, टाई लगाए हुए एक आदमी।
अब किसी किसान का बेटा, टीचर का बेटा, मजदूर का बेटा, अपने पिता को जिंदगीभर जेंटलमैन मान ही नहीं सकता क्योंकि वो सूटेड-बूटेड नहीं होते। और तो और अगर किसी शादी-पार्टी के लिए कोई व्यक्ति, कभी-कभार सूट-बूट पहन ले तो बच्चा झटके से पूछ लेता है- क्या बात है, आज बड़े जेंटलमैन लग रहे हो। और बच्चा ही नहीं बड़े-बड़े भी पूछ लेते हैं। और सिर्फ पूछते ही नहीं, प्रभावित भी रहते हैं। रास्ते चलते कोई धोती-कुर्ते वाला अनजान आदमी बात करे या सूट-बूट टाई वाला तो कितने बड़े लोगों के व्यवहार में अंतर नहीं होगा? ये सब समाज में कहां से आया? ऐसी ही किताबों से आया है। ये मानसिकता हम बचपन में ही पैदा कर देते हैं।
ये चीजें बहुत छोटी-छोटी हैं। हम इन पर ध्यान नहीं देते। अपने बच्चों को हम जाने-अनजाने ऐसी बहुत सी मूर्खतापूर्ण चीजें पढ़ाते आ रहे हैं।
अब किसी किसान का बेटा, टीचर का बेटा, मजदूर का बेटा, अपने पिता को जिंदगीभर जेंटलमैन मान ही नहीं सकता क्योंकि वो सूटेड-बूटेड नहीं होते। और तो और अगर किसी शादी-पार्टी के लिए कोई व्यक्ति, कभी-कभार सूट-बूट पहन ले तो बच्चा झटके से पूछ लेता है- क्या बात है, आज बड़े जेंटलमैन लग रहे हो। और बच्चा ही नहीं बड़े-बड़े भी पूछ लेते हैं। और सिर्फ पूछते ही नहीं, प्रभावित भी रहते हैं। रास्ते चलते कोई धोती-कुर्ते वाला अनजान आदमी बात करे या सूट-बूट टाई वाला तो कितने बड़े लोगों के व्यवहार में अंतर नहीं होगा? ये सब समाज में कहां से आया? ऐसी ही किताबों से आया है। ये मानसिकता हम बचपन में ही पैदा कर देते हैं।
ये चीजें बहुत छोटी-छोटी हैं। हम इन पर ध्यान नहीं देते। अपने बच्चों को हम जाने-अनजाने ऐसी बहुत सी मूर्खतापूर्ण चीजें पढ़ाते आ रहे हैं।
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